- एक अनार सौ बीमार 1% एक चीज के पीछे हजारों लोग
- अंत भला तो सब भला 1% अंजाम अच्छा होने पर सब अच्छा मान लिया जाता है इसलिए अंत भला तो सब भला
- अधजल गगरी छलकत जाए 1% थोड़ा धन और थोड़ी समझ वाले लोग दिखावा अधिक करते हैं बेवकूफ भी दिखावा करते हैं कि वह ज्ञानी है मान लो कि वह सब कुछ जानते हैं इसलिए कहा गया अधजल गगरी छलकत जाए
- अकेला चना भाड़ नहीं फोड़ सकता है 1% एक अकेला इंसान कमजोर और असमर्थ होता है
- अंधों में काना राजा 1% बेवकूफ में बुद्धिमान भी थोड़ी इज्जत पा लेता है
- अपनी अपनी डफली अपना अपना राग 1% सब की अलग-अलग राय और सब की अलग-अलग बात होना
- अपनी करनी पार उतरनी 1% अपने किए पर ही सफलता मिलती है
- आंख का अंधा गांठ का पूरा 1% बेवकूफ अमीर
- आम के आम गुठलियों के दाम 1% दोहरा लाभ दुगना फायदा
- आंख का अंधा नाम का नैनसुख 1% नाम के जैसा गुण ना होना उसी को आंख का अंधा नाम का नैनसुख कहा जाता है
- अंधा पीसे कुत्ता खाए 1% कमाई कोई और हाय कोई और
- ईश्वर की माया कहीं धूप कहीं छाया 1% परमात्मा की लीला विचित्र होती है
- ना उधो का लेना न माधो का देना 1% किसी से कोई मतलब नहीं
- उल्टा चोर कोतवाल को डांटे 1% दोषी होकर निर्दोष को पकड़ना बदनाम करना और सीनाजोरी करना
- ऊंची दुकान फीकी पकवान 1% केवल बाहरी दिखावा करना और अंदर से खोखला होना
- ऊंट के मुंह में जीरा 1% अधिक खाने वाले को थोड़ी वस्तु देना कम खिलाना
- एक साड़ी मछली सारे तालाब को गंदा कर देती है 1% एक व्यक्ति के कारण एक इंसान के कारण एक बुरे इंसान के कारण सारा समाज कलंकित हो जाता है वही होती है एक साड़ी मछली सारे तालाब को गंदा कर देती है
- एक हाथ से ताली नहीं बजती 1% किसी भी लड़ाई में दोनों तरफ से गलती होती है
- जब ओखली में सिर दिया तो मूसल से क्या डरना 1% कठिन कार्य को करते वक्त संकट से क्या डरना मुश्किलें तो आती रहेंगी उस से क्या डरना जब जंग में चले गए हैं तो मारने और मरने से क्या डरना
- कंगाली में आटा गीला 1% कमी में दुख पर दुख आना गरीबी में दुख पर दुख आना
- कहीं की ईंट कहीं का रोड़ा भानुमति ने कुनबा जोड़ा 1% इधर उधर की ई-मेल वस्तुओं को जोड़ना और नई वस्तु बनाना इधर उधर से लाई गई वस्तुओं बेकार वस्तुओं को ने चीज में निर्माण कर देना ही कहीं की ईंट कहीं का रोड़ा भानुमति ने कुनबा जोड़ा कहलाता है
- काठ की हांडी बार बार नहीं चढ़ती 1% छल कपट सभी लोगों के साथ बार-बार नहीं किया जा सकता और यह हमेशा काम नहीं आती
- का बरखा जब कृषि सुखाने 1% समय बीत जाने पर वक्त बर्बाद हो जाने पर सब बेकार हो जाता है
- खाद्य ही जाने खग की भाषा 1% एक साथ रहने वाले ही लोग एक दूसरे का स्वभाव जानते हैं
- खरबूजे को देखकर खरबूजा रंग बदलता है 1% एक को देखकर दूसरा भी उसी की तरह बनने की कोशिश करता है और बन जाता है
- खोदा पहाड़ निकली चुहिया 1% जितना मेहनत करो उससे भी कम मिले
- पर उपदेश कुशल बहुतेरे 1% दूसरों को उपदेश देने वाले में सभी चतुर होते हैं पर खुद पर जब आती है तभी समझ में आती है
- नाच ना जाने आंगन टेढ़ा 1% खुद से काम न होने पर दूसरों पर इल्जाम लगाना
- ना रहेगा बांस ना बजेगी बांसुरी 1% मूल स्रोत ही समाप्त कर दो जहां से शुरू हुआ है उसे ही मिटा दो
- दुविधा में दोनों गए माया मिली ना राम 1% कहीं का ना रहना ना घर का ना घाट का
- वही ढाक के तीन पात 1% एक ही स्थिति में रहना एक ही तरह रहना
- चोर की दाढ़ी में तिनका 1% दोषी आदमी हमेशा सशंकित रहता है
- घोड़ा घास से दोस्ती करेगा तो खाएगा क्या 1% मेहनत के बदले मेहनती मांगना में कोई बुराई नहीं
- घर का जोगी जोगड़ा आन गांव का सिद्ध 1% घर के श्रेष्ठ व्यक्ति का कम सम्मान होता है इससे यही कहा गया
- घर का भेदी लंका ढाए 1% घर की फूट से हानि होती है नुकसान होता है इसलिए घर की बात बाहर नहीं फैल आनी चाहिए
- गंगा गए गंगादास जमुना गए जमुनादास 1% जिसे जहां मौका मिला उसने वहां चौका मारा या नी अवसरवादी
1 टिप्पणियाँ:
Click here for टिप्पणियाँHu Hmm
ConversionConversion EmoticonEmoticon